महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ दल भाजपा व शिवसेना में पर्यटकों की वापसी का श्रेय लेने की होड़
शुभम अविनाश
- 25 Apr 2025, 08:52 PM
- Updated: 08:52 PM
मुंबई, 25 अप्रैल (भाषा) जम्मू कश्मीर के पहलगाम में मंगलवार को हुए आतंकवादी हमले के बाद पर्यटकों की महाराष्ट्र वापसी के लिए प्रयासों को लेकर राज्य में सत्तारूढ़ महायुति में शामिल भाजपा और एकनाथ शिंदे नीत शिवसेना द्वारा किये जा रहे दावों से प्रतीत होता है कि उनमें श्रेय लेने की होड मची है।
मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ) ने जहां शुक्रवार को सोशल मीडिया मंच 'एक्स' पर पोस्ट कर कहा कि मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के निर्देश पर राज्य सरकार द्वारा की गई विशेष उड़ानों की व्यवस्था के जरिये अब तक 500 पर्यटकों को राज्य में वापस लाया गया है, वहीं शिवसेना इसका श्रेय शिंदे को दे रही है।
शिवसेना ने कहा कि उसके द्वारा चार अलग-अलग उड़ानों से श्रीनगर से 520 यात्रियों को वापस लाया गया है और उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने खुद राहत उपायों की निगरानी की।
शिंदे के कार्यालय के एक पदाधिकारी ने बताया, "520 पर्यटकों का हवाई खर्च शिवसेना ने वहन किया।"
इस बीच सीएमओ की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि 237 पर्यटकों का एक और जत्था शुक्रवार को महाराष्ट्र पहुंचेगा।
इसमें यह भी कहा गया है कि फडणवीस ने बृहस्पतिवार को कैबिनेट मंत्री गिरीश महाजन के साथ स्थिति की समीक्षा की।
फडणवीस के हवाले से कहा गया है कि अगर बचे हुए पर्यटकों को वापस लाने के लिए और उड़ानों की जरूरत पड़ी तो राज्य सरकार इसका खर्च उठाएगी।
हमले के तुरंत बाद महाराष्ट्र सरकार ने जम्मू कश्मीर से पर्यटकों को वापस लाने के प्रयास शुरू कर दिए, जिसके लिए बुधवार को फडणवीस ने महाजन को समन्वय का जिम्मा सौंपा।
बुधवार को सरकार ने घोषणा की कि हमले में मारे गए पर्यटकों के शव लाए जाने को लेकर कैबिनेट मंत्री आशीष शेलार और मंगल प्रभात लोढ़ा मुंबई हवाई अड्डे पर समन्वय के लिए मौजूद रहे। पुणे में माधुरी मिसाल को यह जिम्मेदारी सौंपी गई।
शिवसेना ने अपने मंत्रियों गुलाबराव पाटिल और योगेश कदम को हवाई अड्डे पर भेजा। शिंदे खुद बुधवार को पर्यटकों को वापस लाने के प्रयासों में तेजी लाने के मद्देनजर श्रीनगर रवाना हुए और दो दिनों तक वहां डेरा डाले रहे।
सत्तारूढ़ सहयोगी दलों के इस तरह के बयानों को लेकर विपक्ष ने निशाना भी साधा।
कांग्रेस नेता विजय वडेट्टीवार ने बृहस्पतिवार को कहा कि सत्तारूढ़ गठबंधन में शामिल लोग अपना प्रचार करने में लगे हुए हैं और वे पहलगाम में हुए भीषण आतंकवादी हमले जैसी घटनाओं को भी नहीं छोड़ रहे हैं।
कांग्रेस विधायक दल के नेता ने दावा किया कि हमले में अपने परिजनों को खोने वाले या घायल हुए महाराष्ट्र के लोगों को हिम्मत देने के बदले उपमुख्यमंत्री शिंदे ने "बिना किसी जरूरत के" कश्मीर का दौरा किया।
इस बीच शिवसेना ने इस मुद्दे पर प्रतिद्वंद्वी उद्धव ठाकरे की अगुवाई वाली शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) पर निशाना साधा। ठाकरे और उनका परिवार देश से बाहर हैं।
लोकसभा सदस्य नरेश म्हस्के ने कहा, "प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपनी विदेश यात्रा बीच में ही छोड़ दी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पहलगाम पहुंच गए, जबकि एकनाथ शिंदे राहत कार्यों का नेतृत्व करने और मराठी पर्यटकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए तुरंत श्रीनगर पहुंच गए।"
म्हस्के ने कहा, "लेकिन ठाकरे परिवार ने क्या किया? वे यूरोप की ठंडी हवा का आनंद ले रहे हैं। क्या उन्होंने कश्मीर में फंसे हमारे लोगों के लिए एक बोतल पानी भी भेजा है?"
म्हस्के ने कहा कि चाहे वह इरशाल किला त्रासदी हो, कोल्हापुर और केरल में बाढ़ हो या अब श्रीनगर के हालात हों, शिंदे हमेशा लोगों के साथ खड़े रहे हैं।
म्हस्के ने उपमुख्यमंत्री और पार्टी प्रमुख की प्रशंसा करते हुए कहा, "वह बालासाहेब ठाकरे की सच्ची विरासत को आगे बढ़ा रहे हैं।"
इस बीच मुख्यमंत्री फडणवीस ने शुक्रवार को म्हस्के की इस टिप्पणी को अनुचित बताया कि जिन पर्यटकों ने पहले कभी विमान में यात्रा नहीं की थी उन्हें विमान से महाराष्ट्र वापस लाया जा रहा है।
म्हस्के ने बृहस्पतिवार को कहा था, "वर्धा और नागपुर से 45 लोग ट्रेन से (जम्मू कश्मीर) गए थे। वे सीआरपीएफ कैंप में रह रहे थे। 45 लोग ऐसे हैं जिन्होंने पहले कभी हवाई जहाज से यात्रा नहीं की थी। एकनाथ शिंदे ने उन्हें वापस घर लाने की व्यवस्था की थी।"
दक्षिण कश्मीर के पर्यटन केंद्र पहलगाम के निकट बैसरन में 22 अप्रैल को आतंकवादियों ने गोलीबारी की, जिसमें 26 लोग मारे गए। इनमें अधिकतर पर्यटक थे।
भाषा
शुभम