जातिगत गणना को समर्थन, सरकार समयसीमा बताए: कांग्रेस
हक सुरेश
- 30 Apr 2025, 09:34 PM
- Updated: 09:34 PM
नयी दिल्ली, 30 अप्रैल (भाषा) कांग्रेस ने अगली जनगणना में जातिगत गणना कराए जाने के केंद्र सरकार के फैसले का बुधवार को समर्थन किया और यह भी कहा कि सरकार को स्पष्ट करना चाहिए कि यह कब तक होगा तथा किस प्रकार से होगा।
सरकार ने बुधवार को फैसला किया कि आगामी जनगणना में जातिगत गणना को ‘‘पारदर्शी’’ तरीके से शामिल किया जाएगा।
राजनीतिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति द्वारा लिये गए निर्णयों की घोषणा करते हुए केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि जनगणना केंद्र के अधिकार क्षेत्र में आती है, लेकिन कुछ राज्यों ने सर्वेक्षण के नाम पर जाति गणना की है।
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि वह सरकार के फैसले का समर्थन करते हैं, लेकिन सरकार को बताना चाहिए कि यह किस तिथि तक होगी।
उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस और विपक्ष ने पूरे देश में जमीनी स्तर पर अभियान चलाया, सरकार का यह फैसला उसी का नतीजा है।
कांग्रेस नेता ने यह संदेह जताया कि कहीं इस फैसला का हस्र भी महिला आरक्षण अधिनियम की तरह न हो।
राहुल गांधी ने संवाददाताओं से बातचीत में यह भी कहा, ‘‘जातिगत गणना पहला कदम है, यह दरवाजा खोलने का तरीका है। उसके बाद विकास का काम शुरू होगा।’’
उन्होंने कहा, ‘‘हमने संसद में कहा था कि हम ‘जातिगत गणना’ करवा के ही मानेंगे, साथ ही आरक्षण में 50 प्रतिशत सीमा की दीवार को भी तोड़ देंगे। पहले तो नरेन्द्र मोदी कहते थे कि सिर्फ चार जातियां हैं, लेकिन अचानक उन्होंने जातिगत गणना कराने की घोषणा कर दी।’’
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष ने कहा, ‘‘हम सरकार के इस फैसले का पूरा समर्थन करते हैं, लेकिन सरकार को इसकी समयसीमा बतानी होगी कि जातिगत गणना का काम कब तक पूरा होगा।’’
राहुल गांधी ने कहा, ‘‘हमारा एक दृष्टिकोण है, लेकिन सरकार ने इसे स्वीकार किया, इसलिए हम उन्हें धन्यवाद देते हैं। सरकार को तिथि बतानी चाहिए कि कब तक जातिगत गणना का काम पूरा हो जाएगा। इसके अलावा विकास का दृष्टिकोण भी हमारे सामने रखा जाना चाहिए।’’
उन्होंने कहा, ‘‘तेलंगाना जातिगत गणना के लिए एक मॉडल बना है और यह एक ब्लूप्रिंट बन सकता है। हम जातिगत गणना को डिजाइन करने में सरकार की मदद करेंगे, क्योंकि ये डिजाइन बहुत जरूरी है।’’
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने केंद्र सरकार के फैसले को सही कदम करार देते बुधवार को कहा कि जल्द से जल्द बजट का प्रावधान कर, जनगणना और जातिगत गणना का काम पूरी पारदर्शिता के साथ शुरू किया जाए।
खरगे ने यह भी दावा किया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी बार-बार सामाजिक न्याय की इस नीति को लागू करने से बचते रहे और विपक्ष पर समाज को बांटने का झूठा आरोप लगाते रहे।
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, "जातिगत गणना के अभाव में, सार्थक सामाजिक न्याय और सशक्तीकरण कार्यक्रमों का क्रियान्वयन अधूरा है, इसीलिए यह सभी वर्गों के लिए जरूरी है।"
उन्होंने कहा कि जनगणना के लिए इस साल के बजट में भी केवल 575 करोड़ रुपये का आवंटन है, इसलिए ये सवाल मुनासिब है कि सरकार इसको कैसे और कब पूरा करेगी।
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, ‘‘कांग्रेस पार्टी यह माँग करती है कि मोदी सरकार जल्द से जल्द, बजट का प्रावधान कर, जनगणना और जातिगत गणना का काम पूरी पारदर्शिता के साथ चालू करे।’’
पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने कहा कि राहुल गांधी की प्रतिबद्धता की जीत है कि आज केंद्र सरकार जातिगत गणना कराने को मजबूर हुई है।
उन्होंने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ‘‘राहुल गांधी जी ने जनता से वादा किया था कि हम हर हाल में जातिगत गणना करवाकर रहेंगे। विपक्षी पार्टी के रूप में कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव के दौरान "जातिगत गणना एवं सहभागी न्याय" को अपने घोषणा पत्र में शामिल किया और बार-बार ये मांग दोहराई।’’
प्रियंका गांधी ने कहा, ‘‘यह देश की जनता और राहुल गांधी जी की प्रतिबद्धता की जीत है कि आज केंद्र सरकार जातिगत गणना कराने को मजबूर हुई है। कांग्रेस पार्टी सामाजिक न्याय सुनिश्चित करने और हर वर्ग को उचित हिस्सेदारी देने के लिए प्रतिबद्ध है।’’
कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने कांग्रेस के अहमदाबाद अधिवेशन के प्रस्ताव के कुछ अंश साझा करते हुए ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ‘‘सामाजिक न्याय को लेकर यह बात कांग्रेस के हालिया प्रस्ताव में कही गई थी, जो नौ अप्रैल 2025 को अहमदाबाद में पारित हुआ था। देर आए, दुरुस्त आए।’’
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