उप्र : फतेहपुर में सुरक्षा के मद्देनजर निषेधाज्ञा लागू
सं जफर मनीषा रंजन
- 14 Aug 2025, 05:25 PM
- Updated: 05:25 PM
कानपुर, 14 अगस्त (भाषा) उत्तर पदेश के फतेहपुर जिला प्रशासन ने विवादित मकबरे पर विवाद के बाद शहर में सभी प्रकार के समारोहों, जुलूसों और विरोध प्रदर्शनों पर सख्त निषेधाज्ञा लागू कर दी है। अधिकारियों ने इसकी जानकारी दी।
यह कदम अधिकारियों द्वारा 16 अगस्त को जन्माष्टमी के त्योहार के अवसर पर कुछ खुफिया जानकारी मिलने के बाद उठाया गया है।
उत्तर प्रदेश के फतेहपुर जिले में स्थित एक मकबरे पर सोमवार को हिंदू दक्षिणपंथी संगठनों के सदस्यों ने घुसकर हंगामा किया और धार्मिक नारेबाजी की। हंगामा करने वालों का दावा था कि कई सदी पुराना नवाब अबू समद का मकबरा जहां स्थित है, वहां पहले कभी मंदिर हुआ करता था।
घटना का एक कथित वीडियो सोशल मीडिया पर सामने आया है, जिसमें बड़ी संख्या में लोग पुलिस और सुरक्षा बलों की मौजूदगी में मकबरे के अंदर घुसकर नारेबाजी, हंगामा, तोड़फोड़ करते और भगवा झंडा फहराते नजर आ रहे हैं।
उन्होंने बताया कि यह पूरा इलाका लगातार निगरानी में है और सुरक्षाकर्मियों को छोड़कर सभी के लिए प्रवेश यहां प्रतिबंधित है। मकबरे के क्षतिग्रस्त हिस्सों की मरम्मत पहले ही कर दी गई है।
सोमवार की घटना के मद्देनजर, पुलिस अधीक्षक (एसपी) अनूप कुमार सिंह ने पुष्टि की कि 10 नामजद समेत 160 के खिलाफ सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और शांति भंग करने का मामला दर्ज किया गया है।
पड़ोसी कौशाम्बी और प्रयागराज ज़िलों से अतिरिक्त पुलिस बल इलाके में तैनात किया गया है और निवासियों को आश्वस्त करने के लिए सोमवार को एक फ्लैग मार्च निकाला गया।
ज़िला मजिस्ट्रेट (फ़तेहपुर) रवींद्र सिंह और पुलिस अधीक्षक अनूप कुमार सिंह ने बृहस्पतिवार को एक संयुक्त प्रेस नोट जारी कर चेतावनी दी है कि प्रदर्शन करने, भड़काऊ भाषण देने या सोशल मीडिया पर भड़काऊ सामग्री पोस्ट करने की किसी भी कोशिश पर कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
प्रशासन ने एक किलोमीटर के दायरे में कई पुलिस बैरिकेड्स लगाकर इलाके को सील कर दिया है।
अधिकारियों ने बताया कि जन्माष्टमी तक सुरक्षा व्यवस्था को चुस्त-दुरुस्त बनाए रखने के लिए ड्रोन और सीसीटीवी निगरानी के साथ-साथ त्वरित प्रतिक्रिया दल (क्यूआरटी) सहित भारी पुलिस बल तैनात किया जा रहा है।
अधिकारियों ने निवासियों से सांप्रदायिक सद्भाव बनाए रखने और सड़क पर कार्रवाई के बजाय कानूनी माध्यमों से अपनी शिकायतों को उठाने की अपील की है।
उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने पहले कहा था कि सरकार ने इस घटना को गंभीरता से लिया है और दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।
भाषा सं जफर मनीषा